Saturday, October 19, 2024
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How to Withdraw PF From EPF जानिए ईपीएफओ के नए नियम

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How to Withdraw PF From EPF जानिए ईपीएफओ के नए नियम: Know the PF Rules.

How to Withdraw PF From EPF जानिए ईपीएफओ के नए नियम

ईपीएफओ EPFO (कर्मचारी भविष्य निधि संगठन) के नए नियमों के कारण कर्मचारियों को काफी फायदा हो रहा है। अब सरकारी और गैर सरकारी कर्मचारी भविष्य निधि से रकम की थोड़ी और पूरी निकासी कर सकते हैं। करना आसान और तेज हो गया है। कर्मचारी भविष्य निधि संगठन के नए नियमों के कारण लोग अब अपने ईपीएफ खाते से आनलाइन आंशिक निकासी कर सकते हैं।

How To Check PF Balance, पीएफ बैलेंस कैसे चेक करें

रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर से 011-22901406 नंबर पर मिस्ड कॉल कर आप पीएफ बैलेंस चेक कर सकते हैं। जैसा कि आपको पता ही होगा कि वर्ष 2018 में, रिटायरमेंट निकाय ने नियमों में बदलाव करते हुए कर्मचारियों को नौकरी छोड़ने के बाद एक महीने के भीतर ईपीएफ कोष का 75 फीसदी तक निकालने की अनुमति दी थी।

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इसके तहत यदि कोई भी कर्मचारी दो महीने या इससे अधिक समय तक नौकरी नहीं पाता है और बेरोजगार रहता है, तो वह अपने ईपीएफ खाते में जमा राशि का 100 फीसदी निकाल सकता है। वहीं इससे संबंधित कई अन्य जानकारियां हैं जिन्हें आपको पता होना जरूरी है। इस लेख में हम आपको बताएंगे कि क्या आपके फायदे में है।

How To Check PF Balance With UAN Number

शायद आपको पता न हो, अगर कोई कर्मचारी पांच वर्ष की अवधि तक किसी भी कंपनी में नौकरी पूरी नहीं करता है तो ईपीएफ से रकम की निकासी पर टैक्स लगता है।

अगर आपने अपना ईपीएफ खाता पिछले एम्पलॉयर (पिछली नौकरी का ईपीएफ अकाउंट) से ट्रांसफर किया है, तो पिछली रोजगार अवधि भी कर उद्देश्यों के लिए कुल रोजगार अवधि में जोड़ दी जाएगी।

एक कर्मचारी का अपना योगदान वेतन के तहत कर योग्य हो जाता है यदि निकासी पांच साल पूरे होने से पहले की जाती है और यदि आपने आयकर अधिनियम की धारा 80सी के तहत उस योगदान पर कटौती का दावा किया है।

क्या आपको पता है कि ईपीएफ खाते में पड़ी राशि के चार हिस्से होते हैं। इसमें कर्मचारी का योगदान, नियोक्ता का योगदान और दोनों योगदान पर प्राप्त ब्याज।

अगर आपकी रोजगार की अवधि पांच वर्ष से कम है, तो ईपीएफ में नियोक्ता के योगदान के साथ-साथ उस पर प्राप्त ब्याज ‘अन्य स्रोतों से आय’ श्रेणी के तहत आयकर रिटर्न में कर योग्य है। इसके तहत आप पर टैक्स लगेगा।

फॉर्म 15G या 15H जमा करके ईपीएफ निकासी पर टीडीएस से बचा जा सकता है यदि उस वित्तीय वर्ष के लिए उसकी शुद्ध आय कर योग्य आय सीमा से कम है।

ध्यान रहे कि फॉर्म 15H वरिष्ठ नागरिकों (60 वर्ष और उससे अधिक) के लिए है और फॉर्म 15G उन लोगों के लिए है जिनकी कर योग्य आय नहीं है।

पांच साल के निरंतर रोजगार से पहले निकासी पर 10 फीसदी की दर से टीडीएस लगाया जाएगा।

यदि यह राशि 50,000 रुपए से कम है या कंपनी अपना परिचालन बंद कर देती है तो टीडीएस नहीं काटा जाएगा।

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